
परिवर्तन न्यूज़ चंदौली
सकलडीहा। विकास खंड क्षेत्र के धनुऊर ग्रामसभा के जामड़ीह गांव मे जामेश्वर महादेव का डबल शिवलिग एक ही मंदिर मे विराजमान है। वही दो सौ मीटर दूर सरोवर है जहां धनतेरस के दिन से भाईदूज तक पति-पत्नी सरोसर में साथ स्नान कर डबल शिवलिग का दर्शन करते है। मान्यता है कि ऐसा करने से उन्हें पुत्र रत्न की प्राप्ति होती है। यहा चन्दौली सहित आसपास के जनपदों के अलावा बिहार राज्य से भी बडी सख्या में महिलाएं और पुरुष स्नान कर दर्शन पूजन करते हैं।

बताया जाता है कि पौने दो सौ वर्ष पूर्व गाजीपुर जनपद के सराय पोस्ता स्टीमर घाट निवासी सुखलाल अग्रहरि चन्दौली स्थित अपने रिश्तेदारी से लौट रहे थे। रास्ते मे पीपल का पेड़ देख विश्राम करने लगे। इसी दौरान उनको नीद आ गई।जिसमें उनको स्वप्न दिखाई दिया कि। यहा जमीन के अंदर शिवलिग है। अगर तुम यहा मंदिर बनवा देते हो तो तुम्हे पुत्र रत्न की प्राप्ति होगी। क्योंकि सुखलाल अग्रहरि को पुत्र नही थे। इस पर सुखलाल ने वहां खुदाई शुरू कराई। खुदाई में वहां डबल शिवलिग मिला। इसपर सुखलाल ने यहा मंदिर का निर्माण कराया। तत्पश्चात उनको चार पुत्र हुए। जिनके परिजन आज भी दर्शन करते है।

उसी समय से यहा धनतेरस के दिन से भाईदूज तक मंदिर के पास स्थित सरोवर में पति-पत्नी स्नान कर वस्त्र घाट पर ही छोड़ नया वस्त्र धारण कर दो सौ मीटर दूर बाबा जामेश्वर का जलाभिषेक कर दर्शन पूजन करते है। साथ ही मन्नते मांगते है। मान्यता है कि ऐसा करने से उनको पुत्र रत्न की प्राप्ति होती है। और जो पुत्र होता है। यही पर बैंड बाजे के साथ उसका मुंडन विधि विधान से होता है। जिसको पुत्र की प्राप्ति हो चुकी है। वह बच्चे का मुंडन कराने पहुच रहा है। यहा चन्दौली सहित आसपास के जनपदों के अलावा बिहार राज्य से भी बडी सख्या में महिलाएं और पुरुष स्नान कर दर्शन पूजन करते हैं।
सुरक्षा को लेकर एसडीएम अनुपम मिश्रा और सीओ राजेश कुमार राय तथा बीडीओ विजय कुमार सिंह के नेतृत्व में भारी पुलिस बल तैनात है।